वो साल 2016 के अप्रैल का महीना था.
जगह थी सोमालिया की राजधानी मोगादिशु. चरमपंथी संगठन अल शबाब का एक सदस्य विस्फोटक से भरी कार लेकर एक रेस्तरां में दाखिल हो गया. वहाँ हुए धमाके में पाँच लोगों की मौत हो गई.
उसी दिन अफ़ग़ानिस्तान में तालिबान के एक आत्मघाती हमलावर ने अपनी मोटर बाइक से एक बस को निशाना बनाया. ज़ोरदार धमाका हुआ और 12 लोगों की मौत हो गई.
लगभग तभी सीरिया से लेकर पाकिस्तान और लीबिया तक में हमले हुए. इन सभी हमलों में हिंसक जिहादियों का हाथ बताया गया.
हर हमले के बाद एक ही सवाल पूछा गया- आख़िर वो किस तरह के लोग होते हैं, जो इस तरह की घटनाओं को अंजाम देते हैं?